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Canada के PM की चीन को चेतावनी, Justin Trudeau बोले- हमारे लोकतंत्र से दूर रहो, ड्रैगन ने दिया ये जवाब

Canada vs China: कनाडा ने आरोप लगाया है कि चीन अब कनाडाई संस्थानों पर निशाना साध रहा है जिससे कनाडा में लोकतंत्र को कमजोर किया जाए.

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डीएनए हिंदी: भारत का पड़ोसी देश चीन लंबे वक्त से अन्य देशों के लिए मुसीबत बना हुआ है. भारत से लेकर अमेरिका तक चीन से परेशान हैं. इस बीच अब कनाडा भी चीन पर भड़क उठा है. इसका आरोप है कि चीन लगातार उसके लोकतांत्रिक और संवैधानिक संगठनों पर अपनी नजर गढ़ा रहा है जिससे कनाडा का लोकतंत्र प्रभावित हो रहा है. इसके बाद कनाडाई पीएम जस्टिन ट्रूडो ने चीन को सख्त चेतावनी दी है कि वह कनाडा के लोकतंत्र पर अपनी नजर न डाले. 

दरअसल, हाल ही में कनाडा के पीएम जस्टिन ट्रूडो ने चीन पर आरोप लगाते हुए कहा है कि चीन लगातार देश के खिलाफ काम कर रहा है. उनका कहना है कि चीन इस तरीके से कनाडाई लोकतंत्र के साथ खेल रहा है जिससे कनाडा के आम चुनाव प्रभावित हो. ट्रूडो को डर है कि यदि कनाडाई आम चुनाव प्रभावित हुए तो फिर उनकी सरकार गिर सकती है और यहीं चीन भी चाहता है. इसलिए ट्रूडो का कहना है कि चीन कनाडा की संवैधानिक सरकारी संस्थाओं के साथ खिलवाड़ करने की कोशिश कर रहा है. 

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जस्टिन ट्रूडो के इस बयान पर चीन भी भड़क गया है. इसके बाद चीन ने कनाडा पर अब पलटवार करते हुए कहा है कि कनाडा को चीन के साथ संबंधों को ठेस पहुंचाने वाली टिप्पणी करना बंद कर देना चाहिए. कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो के बयानों का हवाला देते हुए चीन के विदेश मंत्रालय के एक प्रवक्ता ने मंगलवार को ये बयान जारी किया और कहा है कि इस तरह के चीन विरोधी बयानों से चीन और कनाडा के कूटनीतिक रिश्तें खराब हो सकते हैं.

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आपको बता दें कि कनाडा और चीन के बीच के द्विपक्षीय संबंध काफी लंबे समये से हैं. वर्ष 1970 में राजनायिक संबंधों की स्थापना बहुत पहले से हो गई थी. कनाडा, चीन के साथ संघीय, प्रांतीय, क्षेत्रीय और नगरपालिका स्तरों पर काम करता हैं. व्यापार और निवेश, पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन, शिक्षा और संस्कृति भी इस मामले में शामिल हैं. ऐसे में यह कहा जा सकता है कि अब इन्हीं सब के जरिए चीन कनाडा के चुनावों को प्रभावित करने की कोशिश कर रहा है क्योंकि ट्रूडो चीन का विरोध कर रहे हैं. ऐसे में चीन नहीं चाहता है कि कनाडा में चीन में भारत विरोधी सरकार आए. 

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