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Congress में बड़ा फेरबदल, सचिन पायलट भेजे गए राजस्थान से बाहर, प्रियंका गांधी से वापस लिया उत्तर प्रदेश

Lok Sabha Elections 2024 Preparations: कांग्रेस ने पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव परिणाम के बाद लोकसभा चुनावों की तैयारियां शुरू कर दी है. इस हिसाब से ही तब्दीली की गई है.

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डीएनए हिंदी: Congress Latest News- कांग्रेस ने पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव में मनचाहा परिणाम नहीं मिलने पर संगठन के पत्ते फेंटना शुरू कर दिया है. लोकसभा चुनाव की तैयारियों का आगाज करते हुए सचिन पायलट को अहम जिम्मेदारी दी गई है. शनिवार को पायलट को कांग्रेस महासचिव पद पर नियुक्त करते हुए उन्हें छत्तीसगढ़ का प्रभारी बना दिया गया. इस तरह उन्हें एक तरीके से राजस्थान की राजनीति में अशोक गहलोत को मिल रही चुनौती से फिलहाल बाहर कर दिया गया है. इसके अलावा भी एक चौंकाने वाला फैसला हुआ है. प्रियंका गांधी वाड्रा से उत्तर प्रदेश की जिम्मेदारी वापस ले ली गई है. प्रियंका गांधी अब भी कांग्रेस महासचिव पद पर बनी रहेंगी, लेकिन फिलहाल वे बिना किसी जिम्मेदारी वाली महासचिव रह गई हैं. कांग्रेस ने एक बयान में कहा है कि उत्तर प्रदेश में प्रियंका की जगह अविनाश पांडेय को भेजा गया है.

पायलट के लिए बड़ा मौका

सचिन पायलट के रिश्ते पिछले कुछ समय से कांग्रेस के साथ बेहतर नहीं रहे हैं. राजस्थान में 2018 में अशोक गहलोत को मुख्यमंत्री बनाए जाने के बाद सचिन पायलट को डिप्टी सीएम बनाया गया था, लेकिन वे इससे संतुष्ट नहीं थे. इसके चलते साल 2020 में कथित विद्रोह भी सामने आया था. एक महीना पहले खत्म हुए राजस्थान विधानसभा चुनाव से पहले भी सचिन पायलट लगातार अपनी ही पार्टी के खिलाफ मुखर नजर आए थे और लगातार बयानों में हमला करते रहे थे. अपनी ही सरकार के खिलाफ उन्होंने पैदल यात्रा भी निकाली थी. राजस्थान में पार्टी की हार का बड़ा कारण पायलट और गहलोत के बीच की लड़ाई को भी माना गया है. हालांकि सचिन के करीबी सूत्र बार-बार यही कहते रहे हैं कि वे कांग्रेस का साथ नहीं छोड़ने वाले हैं, लेकिन उन्हें पार्टी में ज्यादा बड़ी भूमिका की तलाश है. अब उन्हें छत्तीसगढ़ का प्रभारी बनाकर पार्टी ने यह बड़ी भूमिका सौंप दी है, जिसे उनके राजनीतिक करियर के लिए बड़ा मौका माना जा रहा है.

मध्य प्रदेश में पहले ही हो चुका है फेरबदल

मध्य प्रदेश में कांग्रेस विधानसभा चुनाव की हार के बाद पहले ही संगठन में फेरबदल कर चुकी है. वहां पूर्व मुख्यमंत्री कमल नाथ को प्रदेश अध्यक्ष पद से हटाते हुए कांग्रेस ने ओबीसी वर्ग के नेता जीतू पटवारी पर दांव खेला है. इसे ओबीसी वर्ग को लुभाने की कोशिश माना जा रहा है. राजस्थान और छत्तीसगढ़ में पार्टी ने हार के बावजूद अपने प्रदेश अध्यक्ष बरकरार रखे हैं.

इन्हें भी मिली है संगठन में जिम्मेदारी

कांग्रेस ने मुकुल वासनिक को गुजरात, जितेंद्र सिंह को मध्य प्रदेश के साथ ही असम का अतिरिक्त प्रभार, रणदीप सुरजेवाला को कर्नाटक, कुमारी शैलजा को उत्तराखंड, दीपा दासमुंशी को केरल, लक्षद्वीप के साथ तेलंगाना का अतिरिक्त प्रभार सौंपा है. बिहार में पार्टी ने मोहन प्रकाश को प्रदेश अध्यक्ष बनाया है, जिन्हें लालू प्रसाद यादव और नीतीश कुमार, दोनों का करीबी माना जाता है. ये सभी नियुक्तियां कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे की अध्यक्षता वाली दो दिवसीय कांग्रेस वर्किंग कमेटी (CWC) मीटिंग के बाद हुए हैं. CWC कांग्रेस की सर्वोच्च निर्णय लेने वाली समिति है. इस मीटिंग में सोनिया गांधी और राहुल गांधी समेत सभी सीनियर कांग्रेस लीडर मौजूद थे. 

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