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पंजाब में 26 लोगों को मिलेगा कैबिनेट मंत्री का दर्जा, जानिए AAP सरकार का प्लान

पंजाब की भगवंत मान सरकार ने इंडस्ट्री अडवाइजरी कमीशन बनाने का फैसला किया है. पंजाब सरकार कुल 26 लोगों को कैबिनेट मंत्री का दर्जा देगी. पढ़ें पूरा प्लान.

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पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान.

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डीएनए हिंदी: पंजाब (Punjab) की भगवंत मान (Bhagwant Mann) सरकार ने राज्य में औद्योगिक विकास के लिए एक बड़ा फैसला लिया है. सरकार उद्योग सलाहकार आयोग बनाएगी. इंडस्ट्री अडवाइजरी कमीशन का मुख्य काम 26 क्षेत्रों में उद्योग सलाहकारों की नियु्क्ति करनी है. हर इंडस्ट्री अडवाइजरी कमीशन के अध्यक्ष की जिम्मेदारी संबंधित औद्योगिक क्षेत्र के किसी प्रसिद्ध व्यक्ति को दी जाएगी.

राज्य सरकार की ओर से उसे कैबिनेट मंत्री का दर्जा देगी. दिल्ली में यह आयोग पहले से बना है. दिल्ली के संसदीय सचिव ऐसे मामलों को देखते हैं. दिल्ली सरकार की तर्ज पर ही भगवंत मान सरकार ने इस नीति पर आगे बढ़ने का फैसला किया है.

क्यों सरकार ने किया है ऐसा फैसला?
भगवंत मान सरकार ने अलग-अलग औद्योगिक क्षेत्रों में विकास के लिए इंडस्ट्रियल एडवाइजरी कमीशन बनाने का फैसला लिया है. इस कमीशन का मकसद इन औद्योगिक क्षेत्रों के लिए रणनीति और नियम बनाना है

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किन-किन क्षेत्रों में बनेगा आयोग?
टेक्सटाइल, मशीन टूल्स, स्पोर्ट्स गुड्स, फूड प्रॉसेसिंग, राइस मिलिंग एंड प्रॉसेस, साइकिल, इलेक्ट्रोप्लेटिंग, एग्रीकल्चरल मशीनरी, ई बाइक्स, फार्माक्युटिकल्स, स्टील मेटल प्रोडक्ट्स और ऑटो कंपोनेंट जैसे सेक्टर में आयोग बनेगा. इलेक्ट्रॉनिक्स, आईटी, पेपर, होटल, प्लास्टिक, लॉजिस्टिक, रिटेल, हेल्थ केयर और टूरिज्म सेक्टर के लिए भी आयोग बनेगा.

कौन करेगा प्रतिनिधियों की नियुक्ति?
कंस्ट्रक्शन मटेरियल, रिटेल और सर्विस इंडस्ट्री, मीडिया एंड एंटरटेनमेंट जैसे सेक्टर के लिए भी आयोग का गठन होगा. इंडस्ट्रियल एडवाइडरी कमीशन के प्रतिनिधियों की नियुक्ति सरकार करेगी.

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क्या है इस एडवाइडरी का मकसद?
इंडस्ट्री एडवाइजरी कमीशन का काम व्यापार के लिए बेहतर माहौल तैयार कराना है. ग्लोबल प्रोडक्ट्स तैयार करने की दिशा में भी यह आयोग काम करेगा. यह आयोग ऐसे क्षेत्रों में व्यापक रोजगार सृजन की दिशा में काम करेगा. राज्य में ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को भी बढ़ावा देना आयोग का काम होगा. MSMEs के विकास पर भी यह आयोग ध्यान देगा. छोटे स्टार्टअप को भी आयोग बढ़ावा देगा.

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