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Heart Attack Risk: दर्द की इस दवा से कभी भी आ सकता है हार्ट अटैक, भूलकर भी न लें ये पेनकिलर

Painkiller Warning: शरीर में कहीं भी दर्द होते ही आप इस खास दर्दनिवारक मेडिसिन को खा रहे तो तुरंत बंद कर दें क्योंकि ये हार्ट अटैक का कारण बन सकती है.

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Heart Attack Risk: दर्द की इस दवा से कभी भी आ सकता है हार्ट अटैक, भूलकर भी न लें ये पेनकिलर

Heart Attack Risk: दर्द की इस दवा से कभी भी आ सकता है हार्ट अटैक, भूलकर भी न लें ये पेनकिलर 

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डीएनए हिंदीः हममें से बहुत से लोग सिरदर्द से लेकर पेट या पैर दर्द (Headache to Stomach or Leg Pain) होने पर मेडिकल स्टोर से दवा ले आते हैं लेकिन शायद आपको ये नहीं पता कि बेहद आम सी एक दर्दनिवारक दवा (Painkiller) आपके हार्ट को डैमेज (Damage Heart) कर सकती है. अगर आप भी इस दर्द की दवा को खा रहे तो जान लें इसके नुकसान.

अगर आपको लगता है कि हाई कोलेस्ट्रॉल, हाई ब्लड प्रेशर या खून में थक्का बनने के कारण ही हार्ट अटैक का खतरा होता है तो आपके आंखें ये खबर खोल देगी. असल में दर्द निवारक आइबूप्रोफेन पर हुए एक रिसर्च में ये पाया गया है कि ये दर्द में सबसे ज्यादा प्रयोग होने वाली दवा है और यही सबसे ज्यादा दिल को नुकसान पहुंचाती है.

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विशेषज्ञ बताते हैं कि आइबूप्रोफेन की छोटी सी गोली आसानी से मेडिकल स्टोर पर बिना प्रिस्क्रिप्शन मिल जाती है और ये पीठ दर्द से लेकर दांत दर्द तक में काम आती है. 
ये नॉनस्टेरॉइडल एंटी-इंफ्लेमेटरी ड्रग्स होती है जिसमें नेप्रोक्सन, सल्इंडैक, डाइक्लोफेनाक और भी बहुत कुछ शामिल होता है. 

मेडलाइन प्लस के अनुसार ये दवा दिल का दौरा या स्ट्रोक होने के उच्च जोखिम से जुड़ी है. और बिना किसी चेतावनी के दिल का दौरा दे सकता है और जान तक जा सकती है. 

ब्रिटिश मेडिकल जर्नल में प्रकाशित एक अध्ययन में पाया गया है कि आईबुप्रोफेन से हार्ट अटैक का जोखिम को 97 प्रतिशत तक बढ़ जाता है. यूसीएसएफ में सेंटर फॉर प्रिवेंशन ऑफ हार्ट एंड वैस्कुलर डिजीज के निदेशक डॉ विलियम ग्रॉसमैन ने इस जोखिम के पीछे कारण बताया कि आईबुप्रोफेन जैसे एडविल, मोटरीन या आईबुप्रोफेन, मौजूदा उच्च रक्तचाप को और बिगाड़ देता है. 

डॉक्टर का कहना है कि ये सीधे किडनी यानी नेफ्रोटॉक्सिसिटी को भी नुकसान पहुंचा सकता है, जिससे दिल का दौरा या स्ट्रोक की समस्या तेजी से बढ़ती है. याद रखें कि उच्च रक्तचाप यानी हाई बीपी आपकी धमनियों की दीवारों पर इतना प्रेशर डालता है कि इससे दिल को बेहद नुकसान होता है. 

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मेयो क्लिनिक के अनुसार आइबुप्रोफेन धमनियों के फटने के लिए जिम्मेदार होता है. दवा धमनियों को कम लोचदार बनाकर उसे बुरी तरह से नुकसान पहुंचाती है. इसके परिणामस्वरूप हृदय में रक्त और ऑक्सीजन का प्रवाह कम हो जाता है. मेडलाइन प्लस की रिपोर्ट बताती है कि अगर आप लंबे समय तक आइबुप्रेफेन लेते हैं तो आपके हार्ट अटैक आने का संकेत भी नहीं मिलता और अचानक ही दौरा पड़ जाता है. ये खतरा उन लोगों में कई गुना ज्यादा होता है जो स्मोकिंग करते हैं या रोज ही अलकोहल पीते हैं. 

हार्वर्ड मेडिकल स्कूल की एक स्टडी में भी यह बात सामने आई कि अगर आप 10 दिनों तक आइबूप्रोफेन लेते हैं तो आपके लिए खतरा बढ़ता है. 

अगर आपको आइबूप्रोफेन लेने के बाद महसूस हो ऐसा तो समझ अटैक का है लक्षण

  • छाती में दर्द
  • हाथ, जबड़े, गर्दन, पीठ और पेट में दर्द
  • सिर चकराना या चक्कर आना
  • पसीना आना
  • सांस लेने में कठिनाई
  • उलटी अथवा मितली
  • अचानक से स्ट्रेस का बढ़ना
  • खांसी या घरघराहट
  • सीने में दर्द पूरे क्षेत्र में दबाव, भारीपन, जकड़न या निचोड़ने जैसा महसूस होना आदि.

(Disclaimer: हमारा लेख केवल जानकारी प्रदान करने के लिए है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें.) 

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