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Mahakumbh 2025 Snan: महाकुंभ में स्नान के बाद जरूर करें ये 5 काम, पूर्ण हो जाएगी सभी मनोकामना दोगुना मिलेगा पुण्य

शाही स्नान करने से व्यक्ति के सभी पाप और कष्ट नष्ट हो जाते हैं. देवी देवता भी शाही स्नान करने आते हैं. शाही स्नान से न सिर्फ शरीर की शुद्धि होती है. इससे आत्मा भी पवित्र हो जाती है.

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Mahakumbh 2025 Snan: महाकुंभ में स्नान के बाद जरूर करें ये 5 काम, पूर्ण हो जाएगी सभी मनोकामना दोगुना मिलेगा पुण्य
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Mahakumbh Shahi Snan 2025: महाकुंभ की शुरुआत होने में अब सिर्फ कुछ ही समय बाकी है. इसमें शाही स्नान करने को लेकर लोग उत्साहित हैं. 12 साल में लगने वाले इस महाकुंभ स्नान का बड़ा महत्व है. पौराणिक मान्यता है कि शाही स्नान करने से व्यक्ति के सभी पाप और कष्ट नष्ट हो जाते हैं. देवी देवता भी शाही स्नान करने आते हैं. शाही स्नान से न सिर्फ शरीर की शुद्धि होती है. इससे आत्मा भी पवित्र हो जाती है. अगर आप प्रयागराज महाकुंभ में स्नान की तैयारी कर रहे हैं तो कुछ उपाय जरूर अपना लें. इन्हें करने से पुण्यफल की प्राप्ति दोगुनी हो जाएगी. आइए जाते हैं शाही स्नान के समय कौन से 5 काम करने से विशेष पुण्यों की प्राप्ति होगी. 

सूर्यदेव को दें जल 

शाही स्नान तहत पवित्र जल में डूबकी लगाकर सूर्य देव को जल जरूर अर्पित करें. इससे व्यक्ति को करियर में तरक्की, धन-दौलत में वृद्धि होने के साथ ही दुर्भाग्य दूर होता है. पुण्यों की प्राप्ति होती है. इसके साथ ही आर्थिंक लाभ होता है. 

शाही स्नान के बाद जरूर करें दान

हिंदू धर्म में स्नान और दान का बड़ा महत्व है. ऐसा करने से व्यक्ति को पुण्यों की प्राप्ति होती हे. इसलिए महाकुंभ में शाही स्नान के बाद जरूरमंदों के बीच दान जरूर करना चाहिए. दान करने से अशुभ ग्रह भी शुभ प्रभाव देते हैं. 

श्रीहरि और तुलसी की पूजा

महाकुंभ में स्नान के बाद भगवान श्रीहरि और तुलसी की पूजा अर्चना करनी चाहिए . तुलसी को जल अर्पित करें.इससे घर में सुख शांति और खुशहाली आती है. साथ ही माता तुलसी और भगवान विष्णु की विशेष कृपा प्राप्त होती है. 

गौमाता को रोटी दें 

महाकुंभ में शाही स्नान के बाद गाय को रोटी खिलानी चाहिए. इससे पुण्यों की प्राप्ति होती है. कुंभ में स्नान के बाद गाय को रोटी खिलाने से जीवन में हमेशा खुशहाली बनी रहती है. 

दीपदान करें 

महाकुंभ में शाही स्नान के बाद नदी के किनारे दीपदान जरूर करें. साथ ही ध्यान रखें कि दीप दान के लिए तिल का तेल या फिर गाय के घी का इस्तेमाल करें. इससे पुण्यों की प्राप्ति होती है.

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